अफगानिस्तान को आतंकवादियों का पुन: पनाहगाह नहीं बनने देने पर गनी के साथ होगी चर्चा: अमेरिका

वाशिंगटन, व्हाइट हाउस ने कहा कि अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन अफगानिस्तान के अपने समकक्ष अशरफ गनी के साथ बैठक को लेकर उत्साहित हैं और इस दौरान दोनों नेता यह सुनिश्चित करने के तरीकों पर चर्चा करेंगे कि अफगानिस्तान आतंकवादी समूहों के लिए फिर से पनाहगाह नहीं बने।

अफगानिस्तान से 11 सितंबर तक अमेरिकी और नाटो के शेष सैनिकों की वापसी से पहले बाइडन शुक्रवार को व्हाइट हाउस में गनी से पहली बार आमने-सामने की मुलाकात करेंगे।

व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव जेन साकी ने सोमवार को पत्रकारों को बताया, ‘‘राष्ट्रपति व्हाइट हाउस में शुक्रवार की बैठक को लेकर उनका (गनी का) स्वागत करने के लिए उत्सुक हैं। मुझे उम्मीद है कि बातचीत में यह सुनिश्चित करने पर मुख्य रूप से ध्यान केंद्रित किया जाएगा कि अफगानिस्तान फिर से आतंकवादी समूहों के लिए पनाहगाह नहीं बने।’’

मानवीय सहायता और अमेरिका द्वारा दी जा रही अन्य मदद जारी रखने पर भी दोनों नेताओं के बीच चर्चा होगी। रक्षा मंत्रालय ने कहा कि रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन और सैन्य नेतृत्व ‘‘अफगानिस्तान में स्थिति पर लगातार नजर रख रहा है’’। बाइडन ने पेंटागन को इस साल 11 सितंबर तक अफगानिस्तान से सैनिकों की वापसी का निर्देश दिया है। बाइडन और गनी के बीच यह उच्चस्तरीय बैठक ऐसे वक्त हो रही है जब तालिबान के लड़ाकों ने हाल के सप्ताह में अफगानिस्तान के कई नए जिलों पर कब्जा कर लिया है और दोनों पक्षों से कई लोगों के हताहत होने की सूचना है।

सोमवार को काबुल से खबर आयी कि तालिबान के लड़ाकों ने अफगानिस्तान के उत्तरी कुंदुज प्रांत के एक महत्वपूर्ण जिले पर नियंत्रण स्थापित कर लिया और प्रांतीय राजधानी की घेराबंदी कर दी। ‘एपी’ की खबरों में बताया गया कि इमाम साहिब जिले के आसपास लड़ाई रविवार को शुरू हुई और सोमवार को दोपहर तक चली। तालिबान ने जिला मुख्यालय पर हमला किया और पुलिस मुख्यालय पर कब्जा जमा लिया। तालिबान के लड़ाके कुंदुज प्रांत की राजधानी से कुछ ही किलोमीटर दूर हैं, लेकिन शहर में नहीं घुसे। अफगान सुरक्षा बलों और तालिबान के लड़ाकों के बीच लड़ाई तेज होने से काबुल और आंतंकियों के बीच अमेरिकी नेतृत्व में शांति समझौते को झटका लगा है।

क्रेडिट : पेस ट्रस्ट ऑफ़ इंडिया
फोटो क्रेडिट : Wikimedia commons

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