नूंह हिंसा: कांग्रेस का आरोप-मामन खान की गिरफ्तारी ‘‘राजनीति से प्रेरित’’

चंडीगढ़, कांग्रेस की हरियाणा इकाई ने रविवार को आरोप लगाया कि उसके विधायक मामन खान की गिरफ्तारी ‘‘राजनीति से प्रेरित’’ है। कांग्रेस ने 31 जुलाई की नूंह हिंसा की उच्च न्यायालय के किसी न्यायाधीश की निगरानी में न्यायिक जांच की मांग की।
रविवार को एक अदालत ने खान की पुलिस हिरासत दो दिन बढ़ा दी, जिन्हें हरियाणा के नूंह में सांप्रदायिक हिंसा के सिलसिले में गिरफ्तार किया गया है।
हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री एवं हरियाणा विधानसभा में विपक्ष के नेता भूपेंद्र सिंह हुड्डा और हरियाणा प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष उदय भान ने एक संयुक्त बयान जारी कर सरकार से सवाल किया कि वह ‘‘न्यायिक जांच से क्यों घबरा रही है।’’
बयान में कहा गया, ‘‘न्यायिक जांच से सच्चाई सामने आ जाएगी और सबकुछ जनता के सामने आ जाएगा जो सभी को स्वीकार्य होगा।’’
इसमें कहा गया, ‘‘हरियाणा के लोग जानते हैं कि कांग्रेस विधायक मामन खान को राजनीतिक साजिश के तहत गिरफ्तार किया गया है, इसलिए सच्चाई का सामने आना जरूरी है।’’
भान और हुड्डा ने आरोप लगाया कि घटना से 15 दिन पहले से ही सोशल मीडिया पर भड़काऊ पोस्ट किए जा रहे थे और सरकार सो रही थी। उन्होंने कहा, ‘‘इससे यह स्पष्ट होता है कि निश्चित रूप से कुछ ऐसा है जिसे सरकार छिपाने की कोशिश कर रही है। सरकार की निष्क्रियता या तो उसकी मिलीभगत या उसकी विफलता का संकेत देती है।’’
हुड्डा ने दावा किया कि ‘‘राज्य के लोगों को हरियाणा पुलिस की जांच पर भरोसा नहीं है’’ क्योंकि यह घटना उसकी ‘‘विफलता’’ के कारण हुई। हुड्डा ने आरोप लगाया, ‘‘सरकार के पास पहले से ही बिगड़ती स्थिति के बारे में खुफिया रिपोर्ट थी और स्थानीय कांग्रेस (नूंह) विधायक आफताब अहमद लगातार स्थानीय पुलिस प्रशासन को बिगड़ती स्थिति के बारे में सूचित कर रहे थे, इसके बावजूद सरकार ने समय पर कोई कार्रवाई नहीं की।’’
उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने पहले दिन से ही इस मामले की उच्चस्तरीय निष्पक्ष जांच की मांग कर रही है, जिसे सरकार ने स्वीकार नहीं किया। हुड्डा ने दावा किया, ‘‘ऐसा इसलिए है क्योंकि सरकार की मंशा पहले दिन से ही मामले को छुपाने और असली दोषियों को बचाने और निर्दोषों को फंसाने की रही है।’’
फिरोजपुर झिरका से विधायक मामन खान को बृहस्पतिवार देर रात राजस्थान से गिरफ्तार किया गया। खान को नूंह में सांप्रदायिक झड़पों के बाद एक अगस्त को दर्ज एक अलग प्राथमिकी में आरोपी बनाया गया था। उक्त प्राथमिकी में आरोपों में विभिन्न समूहों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा देना शामिल है।
इकत्तीस जुलाई को नूंह में विश्व हिंदू परिषद के नेतृत्व में निकाली गई जलाभिषेक यात्रा पर भीड़ ने हमला कर दिया था। इस घटना और इसके बाद हुई हिंसा में छह लोग मारे गए थे।

क्रेडिट : प्रेस ट्रस्ट ऑफ़ इंडिया
फोटो क्रेडिट : Wikimedia common

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