पूर्वोत्तर में रेलवे के निर्माण कार्यों की समीक्षा की जाए: देबब्रत सैकिया

गुवाहाटी, असम विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष और कांग्रेस के नेता देबब्रत सैकिया ने रविवार को पूर्वोत्तर क्षेत्र के भौगोलिक रूप से संवेदनशील क्षेत्रों में भारतीय रेल द्वारा कराए जा रहे सभी नवीनतम निर्माण कार्यों की समीक्षा करने की मांग की।

उन्होंने यह मांग मणिपुर में रेल निर्माण स्थल पर भूस्खलन और उसमें करीब 40 लोगों की मौत होने के बाद की।

सैकिया ने मणिपुर के नोनी जिले में भूस्खलन की वजह से टुपुल यार्ड रेल निर्माण स्थल पर मलबे में दबे सभी मजदूरों को तत्काल निकालने और मृतकों और घायलों के परिवार को वित्तीय मदद देने की मांग की।

सैकिया ने इस संबंध में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, रेल मंत्री अश्वनी वैष्णव और असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिश्व सरमा को पत्र लिखा है।

गौरतलब है कि मणिपुर में हुए हादसे में असम के आठ लोगों की मौत हुई है जबकि 12 अन्य अब भी लापता हैं।

कांग्रेस नेता ने प्रधानमंत्री को लिखा, ‘‘मैं आपसे अनुरोध करता हूं कि भारतीय रेल द्वार पूर्वोत्तर भारत के भौगोलिक रूप से संवेदनशील क्षेत्र में कराए गए नवीनतम निर्माण की समीक्षा का आदेश जारी करें ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोका जा सके।’’

उन्होंने इसके साथ ही प्रधानमंत्री राहत कोष से प्रत्येक मृतक के परिजनों के लिए 25-25 लाख रुपये की सहायता राशि तत्काल जारी करने की मांग की।

सैकिया ने प्रधानमंत्री से घायलों को 10-10 लाख रुपये का मुआवजा देने की अपील की।

इस बीच, आठ और शवों के मिलने से रविवार शाम को भूस्खलन में जान गंवाने वालों की संख्या बढ़कर 42 हो गई है। वहीं, प्रादेशिक सेना के 13 जवानों और पांच असैन्य लोगों को अबतक मलबे से सुरक्षित निकाला गया है।

सैकिया ने दावा किया कि घटना की प्राथमिक जांच से खुलासा हुआ है कि रेलवे के अधिकारियों ने उचित तरीके से आपदा प्रबंधन नियमावली का अनुपालन नहीं किया, जिसकी वजह से कई लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी।

क्रेडिट : प्रेस ट्रस्ट ऑफ़ इंडिया
फोटो क्रेडिट : Wikimedia commons

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