कांग्रेस को एलओपी पद नहीं देने पर अदालत ने वडोदरा नगर निगम को नोटिस जारी किया

अहमदाबाद, गुजरात उच्च न्यायालय ने कांग्रेस के एक पार्षद की याचिका पर सोमवार को वडोदरा नगर निगम (वीएमसी) को नोटिस जारी किया। कांग्रेस पार्षद ने निगम द्वारा पारित एक प्रस्ताव को चुनौती दी है जिसमें कहा गया है कि कांग्रेस दस प्रतिशत सीटों पर भी जीत नहीं हासिल कर सकी है, इस आधार पर विपक्ष के नेता (एलओपी) की नियुक्ति नहीं की जाएगी।

न्यायमूर्ति संगीता विशन की अदालत ने नोटिस जारी किया जिस पर भाजपा शासित वीएमसी को 20 जुलाई तक जवाब देना है।

याचिकाकर्ता चंद्रकांत श्रीवास्तव ने कहा कि कांग्रेस के दूसरी सबसे बड़ी पार्टी होने के बावजूद, निगम ने विपक्ष के नेता को नियुक्त नहीं करने का 31 मार्च को बहुमत के साथ प्रस्ताव पारित किया।

पार्षद श्रीवास्तव ने कहा कि कांग्रेस ने उन्हें एलओपी नियुक्त करने का प्रस्ताव दिया था, लेकिन उन्हें सत्तारूढ़ भाजपा द्वारा पारित एक प्रस्ताव के माध्यम से पद, और इसके साथ मिलने वाले लाभों और विशेषाधिकारों से वंचित कर दिया गया।

इस साल फरवरी में वीएमसी के लिए हुए चुनाव में भाजपा ने कुल 76 सीटों में से 69 पर जीत हासिल की थी, वहीं कांग्रेस को शेष सात सीटों पर ही जीत मिल सकी।

श्रीवास्तव ने याचिका में दावा किया कि एलओपी की नियुक्ति के लिए कम से कम 10 प्रतिशत सीटों की जरूरत को लेकर कोई नियम नहीं है, जैसा सूचना का अधिकार (आरटीआई) के तहत उनके एक सवाल के जवाब में निगम ने जवाब दिया है।

क्रेडिट : पेस ट्रस्ट ऑफ़ इंडिया
फोटो क्रेडिट : Wikimedia commons

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