देश में 18-59 आयु वर्ग के लाभार्थियों को 4,64,910 एहतियाती खुराकें दी गईं : स्वास्थ्य मंत्रालय

नयी दिल्ली, भारत में 18-59 वर्ष आयु वर्ग के लाभार्थियों को सोमवार को कोविड-19 रोधी टीके की 46,962 से अधिक एहतियाती खुराकें (बूस्टर डोज) दी गईं।

केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय की ओर से जारी आंकड़ों के मुताबिक, अब तक कुल 4,64,910 लाभार्थियों को टीके की एहतियाती खुराकें दी जा चुकी हैं।

मंत्रालय के अनुसार, सोमवार को शाम सात बजे तक 20 लाख से अधिक टीके लगाए गए। देश में कोविड-19 टीकाकरण का कुल आंकड़ा 187.92 करोड़ को पार कर गया है। साथ ही मंत्रालय ने कहा कि दैनिक टीकाकरण का यह आंकड़ा देर रात तक अंतिम रिपोर्ट आने के बाद बढ़ने की उम्मीद है।

भारत ने 10 अप्रैल को निजी टीकाकरण केंद्रों से 18 वर्ष से अधिक आयु के सभी लोगों को टीकों की एहतियाती खुराक देना शुरू किया था।

18 वर्ष से अधिक आयु के लोग, जिन्हें टीकों की दूसरी खुराक लिए नौ महीने पूरे हो चुके हैं, वे एहतियाती खुराक लेने के पात्र हैं।

स्वास्थ्य कर्मियों, अग्रिम पंक्ति के कर्मियों और 60 वर्ष और उससे अधिक उम्र के लोगों को अब तक 2.64 करोड़ से अधिक एहतियाती खुराकें दी जा चुकी हैं।

महामारी के खिलाफ देशव्यापी टीकाकरण अभियान पिछले साल 16 जनवरी को शुरू किया गया था, जिसमें स्वास्थ्य कर्मियों को पहले चरण में टीका लगाया गया था। अग्रिम पंक्ति के कर्मियों का टीकाकरण पिछले साल दो फरवरी से शुरू हुआ था।

कोविड टीकाकरण का अगला चरण पिछले साल एक मार्च को 60 वर्ष से अधिक आयु के लोगों और बीमारी से पीड़ित 45 वर्ष और अधिक आयु के लोगों के लिए शुरू हुआ था। देश ने पिछले साल एक अप्रैल से 45 वर्ष से अधिक आयु के सभी लोगों के लिए टीकाकरण शुरू किया।

पिछले साल एक मई से 18 वर्ष से अधिक उम्र के सभी लोगों को कोविड टीकाकरण की अनुमति देकर टीकाकरण अभियान का विस्तार करने का निर्णय लिया गया। टीकाकरण का अगला चरण इस साल तीन जनवरी से 15-18 वर्ष के आयु वर्ग के किशोरों के लिए शुरू हुआ।

भारत ने इस साल 10 जनवरी से स्वास्थ्य कर्मियों, अग्रिम पंक्ति के कर्मियों और 60 वर्ष और उससे अधिक उम्र के लोगों को टीकों की एहतियाती खुराक देना शुरू किया।

देश ने 16 मार्च से 12-14 वर्ष की आयु के बच्चों का टीकाकरण शुरू किया और बीमारी की शर्त को हटा दिया, जिससे 60 वर्ष से अधिक आयु के सभी लोग एहतियाती खुराक के लिए पात्र हो गए।

क्रेडिट : प्रेस ट्रस्ट ऑफ़ इंडिया
फोटो क्रेडिट : Wikimedia commons

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