प्रमुख रक्षाध्यक्ष जनरल चौहान की फ्रांस यात्रा दीर्घकालिक रणनीतिक साझेदारी की पुष्टि करती है: सरकार

नयी दिल्ली  प्रमुख रक्षा अध्यक्ष (सीडीएस) जनरल अनिल चौहान ने भारतीय सशस्त्र बलों की भविष्य की क्षमताओं के निर्माण के उद्देश्य से दासॉल्ट एविएशन  सफरान और नेवल ग्रुप सहित कई फ्रांसीसी रक्षा कंपनियों के शीर्ष अधिकारियों के साथ बातचीत की।

             जनरल चौहान ने लगभग एक सप्ताह लंबी फ्रांस यात्रा के दौरान कई कार्यक्रमों में हिस्सा लिया और उनकी यह यात्रा शनिवार को संपन्न हुई।  रक्षा मंत्रालय ने रविवार को कहा  ‘‘सीडीएस जनरल अनिल चौहान की व्यापक फ्रांस यात्रा भारत और फ्रांस के बीच लंबे समय से चली आ रही रणनीतिक साझेदारी की पुष्टि करती है।’’ समझा जाता है कि उनकी बातचीत में फ्रांस से 26 राफेल (समुद्री संस्करण) विमानों और तीन स्कॉर्पीन पनडुब्बियां खरीदने की भारत की योजना पर चर्चा हुई।

             स्वदेश निर्मित विमानवाहक पोत आईएनएस विक्रांत पर तैनाती के लिए पिछले साल जुलाई में रक्षा मंत्रालय ने फ्रांस से 26 राफेल (समुद्री संस्करण) विमान की खरीद को मंजूरी दी थी। मंत्रालय ने फ्रांस से तीन स्कॉर्पीन पनडुब्बियों की खरीद को भी मंजूरी दे दी थी। भारतीय नौसेना के प्रोजेक्ट 75 के तहत  फ्रांस के ‘नेवल ग्रुप’ के सहयोग से मझगांव डॉक लिमिटेड (एमडीएल) द्वारा भारत में छह स्कॉर्पीन पनडुब्बियों का निर्माण पहले ही किया जा चुका है।

             भारत और फ्रांस के बीच रक्षा और रणनीतिक संबंध पिछले कुछ वर्षों में तेजी से बढ़े हैं। दोनों रणनीतिक साझेदार तीसरे देशों के लाभ सहित उन्नत रक्षा प्रौद्योगिकियों के सह-विकास और सह-उत्पादन पर विचार कर रहे हैं। जनरल चौहान ने दोनों देशों के सशस्त्र बलों के बीच सैन्य सहयोग को मजबूत करने के तरीकों पर फ्रांस के वरिष्ठ नेताओं और सैन्य नेतृत्व के साथ व्यापक बातचीत की।

             बताया जा रहा है कि बातचीत में हिंद-प्रशांत क्षेत्र की स्थिति पर भी चर्चा हुई जिसमें चीनी सेना की बढ़ती ताकत देखी गई है। जनरल चौहान ने फ्रेंच लैंड फोर्सेज कमांड  फ्रेंच स्पेस कमांड और स्कूल ऑफ मिलिट्री स्टडीज (इकोले मिलिटेयर) का भी दौरा किया। बातचीत के दौरान जनरल चौहान ने प्रमुख सुरक्षा चुनौतियों पर भारत का दृष्टिकोण साझा किया।

             मंत्रालय ने कहा कि जनरल चौहान ने प्रथम विश्व युद्ध के दौरान पश्चिमी मोर्चे पर लड़ने वाले भारतीय अभियान बल के सैनिकों की असाधारण बहादुरी को याद करते हुए न्यूवे-चैपल और विलर्स-गुइसलेन के युद्ध स्मारकों पर भी श्रद्धांजलि अर्पित की।

क्रेडिट : प्रेस ट्रस्ट ऑफ़ इंडिया
फोटो क्रेडिट : Wikimedia common

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