ओएससीई की बैठक में छाया रहा यूक्रेन पर रूस के आक्रमण और लावरोव पर पाबंदी का मुद्दा

लोड्ज (पोलैंड), यूरोप के सबसे बड़े सुरक्षा संगठन ‘‘ऑर्गेनाइजेशन फॉर सिक्योरिटी एंड कोओपरेशन इन यूरोप’’ (ओएससीई) की बृहस्पतिवार को हुई बैठक में यूक्रेन पर रूस के आक्रमण का मुद्दा छाया रहा। यह मुद्दा लगभग 50 साल पहले गठित ओएससीई के सामने मौजूद सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक है।

फरवरी में यूक्रेन पर रूस के आक्रमण के बाद से पोलैंड के लोड्स में संगठन की यह पहली बैठक हुई है।

इस बैठक में रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव शामिल नहीं हुए। वह बैठक में शामिल होना चाहते थे, लेकिन संगठन के मौजूदा अध्यक्ष पोलैंड ने उन पर देश में प्रवेश करने पर प्रतिबंध लगा रखा है।

पोलैंड 27 सदस्यीय यूरोपीय संघ का सदस्य है, जिसने लावरोव को प्रतिबंधित सूची में डाल रखा है।

लावरोव ने बृहस्पतिवार को प्रतिबंध की निंदा की।

उन्होंने कहा, “मैं जिम्मेदारी के साथ कह सकता हूं कि पोलैंड की अध्यक्षता इस संगठन को अब तक की सबसे दयनीय स्थिति में ले जाएगी। संगठन को किसी भी चीज से इतना नुकसान नहीं हुआ होगा, जितना पोलैंड की अध्यक्षता से होने वाला है।”

उन्होंने वीडियो कॉल के दौरान पत्रकारों से कहा, “हमारा पड़ोसी देश पोलैंड सर्वसहमति की संस्कृति को नष्ट करके संगठन के लिए कब्र खोद रहा है।”

दूसरी ओर पोलैंड के विदेश मंत्री और फिलहाल ओएससीई के अध्यक्ष जबिग्न्यू राउ ने कहा कि उन्हें संगठन के “मौलिक सिद्धांतों” की रक्षा करने की जिम्मेदारी मिली है। उन्होंने कहा कि पोलैंड ने नहीं बल्कि रूस ने संगठन के ज्यादातर कामकाज में अड़ंगा लगाकर उसे खोखला कर दिया है।

उन्होंने रूस पर पोलैंड के बारे में गलत सूचनाएं फैलाने का आरोप लगाया।

क्रेडिट : प्रेस ट्रस्ट ऑफ़ इंडिया
फोटो क्रेडिट : Associated Press (AP)

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